Minal Aggarwal 7 books · 28,013 words Dil Ki Kitab Dr. Minal मेरी पुस्तक दिल की किताब आप सबके लिए एक उपहार स्वरूप है। मेरे दिल से आपके दिल तक सफर तय करके अपने दिल के सागर की गहराइयों से लिखी कविताओं को आप तक पहुंचाने का एक जरिया मात्र है। दिल... Sanjay kumar mallik 1 book · 5,883 words Mere Mann Ki Sanjay Kumar Mallick मेरी पुस्तक "मेरे मन की" एक प्रयास है समसामयिक विषयों पर, समाज में घट रही घटनाओं पर, और महत्वपूर्ण विषयों पर अपनें भावों को शब्दों की माला के रूप में आप सभी प्रबुद्ध पाठकों के समझ रखूं और भविष्य में... विजय कुमार अग्रवाल 2 books · 14,937 words Dil Ki Mala Ke Moti Vijay Kumar Agarwal (Vijay Bijnori) प्रिय पाठकों, इस पुस्तक में लिखी गई हर कविता पढ़ने पर आपको महसूस होगा कि यह आपके अपने दिल की आवाज है। मेरी प्रत्येक कविता का विषय आम आदमी की जिंदगी से जुड़ी हुई घटनाओं पर आधारित है। मुझेआशा नहीं... डॉ नवीन जोशी 'नवल' 2 books · 9,674 words Nav-Kavyankur Navin Joshi 'Naval' छायावादी साहित्य से प्रेरित नवीन जोशी 'नवल' के प्रस्तुत काव्य संग्रह में प्रकृति प्रेम व श्रृंगार के साथ ही भगवद्भक्ति व मानव जीवन से जुड़े विभिन्न पहलुओं का वर्णन कुण्डलिया छंदों, मुक्तकों, छंदबद्ध एवं छंदमुक्त कविताओं के माध्यम से किया... Jeewan Singh 'जीवनसवारो' 4 books · 61,847 words Sainik ki Kavitayein Jeewan Singh "Jeewansavaro" एक सैनिक के लिए राष्ट्र की सुरक्षा और राष्ट्र सेवा सर्वोपरि है जहाँ देश की रक्षा के लिए वह अपने प्राण न्यौछावर कर देता है वही दुनियाभर में शांति स्थापित करने, मानवीय और प्राकृतिक आपदाओं में राहत कार्यो के लिए... Mahendra Narayan 1 book · 4,754 words Sannata Kuch Kehta Hai (Geet, Navgeet Sangrah) Mahendra Narayan उपेक्षित, शोषित वर्ग एवं आमजन की पीड़ा को नये बिम्बों के माध्यम से आलोकित करते ताजे गीत, नवगीतों का बार-बार पढ़ने योग्य संग्रह - सन्नाटा कुछ कहता है। Ravi Ranjan Goswami 1 book · 3,104 words Anubhootiyan Ravi Ranjan Goswami अनुभूतियां मेरी विभिन्न समय, परिस्थितियों में लिखित लघु कविताओं का संकलन है। ये कवितायें न तो एक तरह की हैं और न ही एक विषय पर हैं। किसी कविता संग्रह का नामकरण मुश्किल लगता है। इतने बिखरे हुए शब्दों को... डॉ. नीरजा मेहता 'कमलिनी' 1 book · 5,258 words Prem-Pratima Dr. Neerja Mehta 'Kamalini' प्रेम एक एहसास है जो दिल से होता है। प्रेम जीवन का अभिन्न अंग है, प्रेम के बिना जीवन अधूरा है। प्रेम को किस तरह जिया जाता है यह जानने के लिए पढ़ें "प्रेम प्रतिमा" की रचनाओं को जिसमें प्रेम... Manisha Manjari 13 books · 3,40,118 words Goonj Manisha Manjari भावनाएँ और संवेदनाएँ अक्सरहां मनरूपी समंदर में मौन बवंडर बन सोया करती हैं। शब्दों के कंकड़ जब इस बवंडर को जागृत करते हैं, तब कहीं जाकर काव्य अपना स्वरुप लेती है। काव्य-संग्रह “गूंज” यथार्थ और कल्पना, सत्य और असत्य, सुख... सत्येन्द्र पटेल ‘प्रखर’ 19 books · 3,57,003 words Aarju Satyendra Patel 'Prakhar’ देश, काल और परिस्थिति के बदलते हुए आयामों के बीच मानव के मन में उपजी भावनाओं, विचारों एवं आकांक्षाओं को दर्शाती हुई 'आरजू' विभिन्न विषयों पर रचित कविताओं के संग्रह की एक अनूठी कृति है। Mahesh Jain 'Jyoti' 4 books · 75,732 words Geetika Manjari Mahesh Chand Jain 'Jyoti' गीतिका मंजरी आपके समक्ष है! गीत की सहचरी गीतिका। आचार्य श्री ओम नीरव जी द्वारा प्रणीत यह विधा अब साहित्यिक क्षेत्र में सुस्थापित एवम् स्वीकार्य विधा बन चुकी है। विविध भाव भूमि पर आधारित ये गीतिकाएँ आपके हृदय को निश्चय... अनिल कुमार 2 books · 9,547 words Izhaar-E-Pyaar Anil Kumar साथियों, मेरी इस पुस्तक की अधिकतर रचनाओं में आप अपने प्यार का एहसास करेंगे और ख़ुद को इनमें पाओंगे। इनके शीर्षक को मैंने ग़ज़ल/नज़्म का नाम दिया है लेकिन इनको उचित बहर में नहीं लिखा गया है जो गज़ल को... Meera Thakur 3 books · 17,155 words Dhoop Chhanv Ki Dari Meera Thakur 'धूप-छाँव की दरी' पुस्तक मीरा ठाकुर की चयनित 51 कविताओं का संग्रह है। इन कविताओं का विषय जीवन के खट्टे-मीठे अनुभवों पर आधारित है। इन कविताओं में पाठकों को अपनी आपबीती दिखाई देगी। ये कविताएँ बिना कहे ही पाठकों के... Ramesh Adheer 4 books · 41,921 words Aadharbhut Sanatan Gyan Ramesh 'Adheer' विभिन्न कारणों से बिसराये हुए व यत्र- तत्र बिखरे हुए अति महत्वपूर्ण सनातन ज्ञान को एक ही स्थान पर एकत्र करके उसकी प्रभाव पूर्ण प्रस्तुति का प्रयास है यह पुस्तक। कृपया देवदुर्लभ मानव जीवन को सार्थकता प्रदान करने हेतु इसका... मनोज कर्ण 6 books · 30,959 words Rishtey - Kuchh Sachche, Kuchh Jhuthe (Kavya Sangrah) Manoj Karn रिश्ते, कुछ सच्चे कुछ झूठे ” काव्य-संग्रह मनोज कर्ण जी की प्रथम प्रस्तुति है। काव्य-संग्रह की सभी रचनाएं मानवीय मूल्यों और रिश्तों के बीच के संबंधों की गहराई में जाकर अंतर्मन को झकझोरती है। सफल जीवन जीने के लिए मनुष्य... नंदलाल मणि त्रिपाठी पीताम्बर 4 books · 17,429 words Swar Sadhana Nand Lal Mani Tripathi Pitamber स्वर साधना ऐसा काव्य संग्रह जिसमे जीवन के सभी पक्ष एव रस सम्मिलित है। भक्ति रस से श्रृंगार रस साथ ही साथ युवाओं को सकारात्म संदेश देता यह काव्य संग्रह नेह स्नेह के रिश्तो को संचारित करता है। वास्तव में... Veneeta Narula 5 books · 28,231 words Anubhuti Ke Pal Veneeta Narula प्रस्तुत है -'अनुभूति के पल' कविता-संकलन जिसमें मानव-अनुभूतियों की छलछलाती तरंगों का नैसर्गिक सौन्दर्य है। जीवन की सरलता केसाथ गांभीर्य का साक्षात्कार है। मनोमुग्धकारिणी उद्भावनाएं हैं तो लोकोत्तर आनंद में निमग्न करने का सामर्थ्य भी। जीवन की कटुता में भी... Basant Karwa 1 book · 24,979 words Ghutan - Ek Satya Katha Basant Karwa कुछ ही वर्षों पूर्व सर्दियों की एक बेहद ठंडी रात में मेरे घर के पीछे एक चौपाये प्राणी ने पाँच बच्चों को जन्म दिया। बस वहीं से शुरू हुआ, उन बेजुबानों के सुख-दुःख, मोह-माया, मौज-मस्ती, प्रेम-द्वन्द, रोग-शोक, मिलन- विछोह और... Ravi Prakash 15 books · 2,91,342 words Saras Ramkatha Ravi Prakash पुस्तक सरस रामकथा में रामचरितमानस के आधार पर रामकथा के विविध प्रसंगों का वर्णन दोहों और चौपाइयों में तथा पात्रों का चित्रण कुंडलिया छंद में किया गया है। goutam shaw 1 book · 4,040 words Brinda (Ek Bhav Kalam Se) Goutam Shaw बृंदा 'नाम का खास महत्व है क्योंकि इसका अर्थ तुलसी या पवित्र तुलसी है साथ ही मेरी पूजनीय मां का नाम भी है। मैंने अपने भाव को कलम के स्याही में भरकर 'बृंदा' काव्य संग्रह में लिखने का एक प्रयास... Kanchan Alok Malu 3 books · 12,581 words Mann ki Dhun Mrs. Kanchan Alok Malu मन की धुन यह पुस्तक जिंदगी में के अनेक भावनाओ और अनुभवों का एक रूप है। कविता रचनाकार ने बहुत ही सहज और आसान शब्दों में अपनी कविता को एक रोचक रूप दिया है। यह कविता संग्रह जिंदगी के अलग... सोलंकी प्रशांत (An Explorer Of Life) 1 book · 6,178 words Kavya Mudrika Prashant Solanki “काव्य मुद्रिका”, मेरी पच्चीस कविताओं का मौलिक संग्रह है। इन कविताओं के माध्यम से मैंने स्वयं को और समाज के भिन्न-भिन्न पहलुओं को समझने की एवं विश्लेषित करने की कोशिश की है। मुद्रिका एक संस्कृत शब्द है जिसका अर्थ अँगूठी... Laxmi Narayan Gupta 1 book · 4,267 words Kahaniyon Ki Kavita Laxmi Narayan Gupt एक सरल सी कहानी है ज़िन्दगी दूजी सरल सी कविता है बंदगी जिंदगी में यदि आजाए बंदगी दिलों में आ जायेगी संजीदगी। मानवीय मूल्यों के क्षरण को रोकने का प्रयास... Rajiv Vishal (Rohtasi) 1 book · 3,941 words Dhadkanen- Meri Kavitayen Rajiv Vishal (Rohtasi) धड़कनें मेरी कविताएँ एक ऐसा काव्य संग्रह है जिसमें वर्तमान में घटित होने वाली घटनाओं एवम् विश्वव्यापी समस्याओं को आधार बनाकर कविताओं के माध्यम से आम जन तक पहुँचाने की कोशिश की गयी है जो पाठकों के दिल को भायेगा... Dr B.R.Gupta 3 books · 43,393 words Satya Ki Khoj (Geet Manjari) Dr. B.R. Gupta यह पुस्तक 'सत्य की खोज ' को क्यों पढ़ना चाहिए? आजकल की व्यस्त जिन्दगी में किसी के पास समय ही कहां है, कि वह सोचे कि मैं क्या हूं?, ईश्वर क्या है?, यह संसार क्या है?। अगर कभी मन में... Bodhisatva kastooriya 6 books · 25,890 words Samvednayen - Meri Kavitayen Bodhisatva Kastooriya जीवन की खुशी और गम दोनो सम्वेदन शील मन और मस्तिष्क दोनो को झँकृत करते है! खुशी को प्रदर्शित करने के लिए मानव नाचता गाता और शब्दो मे भाव प्रकट करने के लिए गीत लिखता है, मैने भी प्रयास किया... Shivpal singh Shivam 1 book · 11,245 words Shivam Vani Shivpal Singh 'Shivam' उत्तम जीवन की परिकल्पना पर आधारित पुस्तक रचना ' शिवम वाणी' क्रिया योग विज्ञान के विभिन्न पहलुओं से बोध कराने वाली रचना है। क्रिया योग के अभ्यास से सर्वप्रथम मानव जीवन अनुशासित हो जाता है, जिससे उसका पूरा जीवन सुख,... सतीश पाण्डेय 1 book · 4,405 words Guldasta Satish Chandra Pandey कविता संग्रह गुलदस्ते के सभी पुष्प, कलियां, पत्तियां आपसे आपकी बात करती हुई महसूस होंगी। इसमें अंतिम पंक्ति में बैठे हुए उस व्यक्ति की पीड़ा, विभिन्न झंझावातों की महक भी है और सुनहरे कल की कामना और सुझाव भी हैं,... Kishore Nigam 1 book · 7,020 words Jeevan Dhaara Satya Kishore 'Satya' जीवनधारा संग्रह में जिंदगी "मैं जिंदगी हूं" कहते हुए स्वयं को परिभाषित करते हुए महाप्रपात, महासागर, भूख, छलों का पाठ्यक्रम, एक आँसू, एक हंसी, लंबा रास्ता जैसे संबोधन स्वयं को देते हुए बहती जाती है और पाठकों को अपनी भावधारा... जगदीश लववंशी 3 books · 19,695 words Chhanv J.P. Lovewanshi मानव और प्रकृति का एक अटूट संबंध है। प्रकृति की छाँव में मानव एक सुखद वात्सल्यमय आनंद का अनुभव करता है। काव्य संग्रह "छाँव" ऐसी ही छोटी छोटी कविताओं का गुलदस्ता है, जिसे पढ़कर आपका मन प्रफुल्लित हो जाएगा। कविताएं...